जानिए शेयर मार्केट Gap-up खुलेगा या Gap-down, कल मार्केट गैप अप होगा या गैप डाउन कैसे पता करें और कौन से शेयर, निफ्टी या बैंक निफ्टी गैपअप ओपन होंगे या डाउन, How to predict gap up and gap down in hindi, Gapup or Gapdown market strategy in hindi
आज आप जानेंगे कि कल के दिन शेयर बाजार की opening gap up होगी या gap down, कल का मार्केट कितने पॉइंट ऊपर या नीचे खुलने वाला है और कल बाजार में ट्रेड करने के लिए क्या स्ट्रेटजी होनी चाहिए ताकि आप अधिक से अधिक प्रॉफिट कमा सकें.
जो लोग रोजाना Nifty या banknifty index में ट्रेडिंग करते हैं या फिर stocks में इंट्राडे, स्विंग या ऑप्शन ट्रेडिंग करते हैं उन लोगों के लिए यह पोस्ट बहुत उपयोगी होने वाली है क्योंकि आज हम आपको कुछ ऐसे तरीके बताने वाले हैं जिनके द्वारा आप market gap up खुलेगा या gap down, इसका पता एक दिन पहले ही लगा सकते हैं।
तो क्या आप तैयार हैं आज मार्केट gap up या gap down का पता लगाने के लिए (how to know market will open gap up or gap down) अगर हां तो आज आप इसके बारे में सब कुछ सीखने वाले हैं इसीलिए इस पोस्ट को अंत तक जरूर पढिएगा।
कैसे पता करें कल मार्केट Gap up खुलेगा या Gap down?
“आज या कल मार्केट Gap up होगा या Gap down, यह पता करने के लिए कई तरीके हैं जैसे SGX Nifty देखना, Dow Jones की opening को ट्रैक करना, AMO orders देखना और मजबूत सपोर्ट या रेजिस्टेंस लेवल पर बंद होने पर अगले दिन मार्केट gap up या gap down ओपन होता है।”
Market gap up and gap down kaise pata kare
शेयर बाजार में कुछ लोग एक दिन या 2 घण्टे पहले ही predict कर लेते हैं कि आज मार्केट गैप अप ओपन होगा या गैप डाउन? और Nifty या banknifty कितने पॉइंट gapup या gapdown हो सकता है इसके अलावा कुछ लोग तो gap up या gap up opening stocks की लिस्ट भी पहले ही बता देते हैं।
और जब मार्केट खुलता है तो उनका prediction लगभग सही निकलता है।
ऐसे में नए लोगों के मन में अक्सर ये सवाल आता है कि आखिर ये लोग ऐसा कैसे कर पाते हैं?
- अगर आप सिंगापुर निफ्टी या SGX Nifty के बारे में जानते हैं तो आपको पता होगा कि सिंगापुर का शेयर मार्केट इंडियन स्टॉक मार्केट से पहले ही खुल जाता है जिसको देखकर हम लोग इंडिया में हमारा बाजार किस तरफ ओपन होगा इसका अनुमान लगा लेते हैं।
- क्योंकि 10 में से 8 बार भारतीय शेयर बाजार यानी इंडियन Nifty और SGX Nifty दोनों का परफॉर्मेंस एक जैसा ही रहता है मतलब अगर आज SGX Nifty gap up खुला है तो लगभग 80% चान्सेस हैं कि हमारा nifty भी gap up खुलेगा।
लेकिन इसका मतलब यह बिल्कुल भी नहीं है कि आप सिर्फ SGX Nifty के भरोसे ही ट्रेड करने बैठ जाएं.
इसके अलावा कई और भी बेहतरीन तरीके हैं जिनके द्वारा आप अधिक accuracy के साथ market gap up and gap down का prediction कर सकते हैं।
क्योंकि आपको जितने ज्यादा तरीकों के बारे में पता होगा उतनी ही अच्छे से आप मार्केट के ऊपर (Gapup) या नीचे (Gap down) खुलने का अनुमान लगा पाएंगे और फिर उसी तरफ से ट्रेडिंग कर के आप मार्केट से पैसा कमा पाएंगे।
तो चलिए अब उन्हीं तरीकों के बारे में एक-एक करके जान लेते हैं–
1. Buying और selling जोन से पता करें मार्केट gap up होगा या gap down
मार्केट gap up और gap down पता करने का सबसे पहला तरीका है buying और selling जोन देखना. जी हां, बाइंग जोन वह होता है जहां से मार्केट बढ़ना शुरू होती है और सेलिंग जोन वह लेवल है जहां से मार्केट गिरना शुरू होती है।
जब आप निफ़्टी, बैंक निफ़्टी या किसी भी स्टॉक का चार्ट देखते हैं या फिर जिस भी शेयर या इंडेक्स का gap up या down का पता लगाना चाहते हैं तो उसके चार्ट पर बनने वाली कैंडल्स को ध्यान से देखिए।
आपको यह देखना है कि चार्ट पर किस लेवल से मार्केट तेजी से ऊपर गया है मतलब उसमें buying हुई है
और किस लेवल से मार्केट तेजी से गिरा है मतलब किस पॉइंट से selling आना शुरू हुई है।
- मान लीजिये निफ्टी 18500 लेवल पर पहुंचते ही कई बार सेलिंग आई है और आज मार्केट 18500 लेवल के आसपास जाकर ही बंद हो गया है तो 80-90% चांसेस हैं कि कल मार्केट gap down ओपन होगा।
ऐसा इसलिए होगा क्योंकि निफ्टी के लिए 18500 एक strong resistance लेवल है मतलब वहां पर sellers मार्केट गिराने के लिए बैठे हुए हैं इसीलिए इस लेवल पर मार्केट बंद होने पर बहुत संभावना होती है कि कल मार्केट नीचे ही खुलेगा।
इसी तरह मान लो कि अगर मार्केट 17000 के सपोर्ट लेवल को टच करके बार-बार ऊपर जाता है मतलब वहां से buying होने लगती है तो इसका मतलब है कि 17000 एक strong buying zone है तो अगर मार्केट इस लेवल के आस पास आकर बंद होता है तो बहुत चांसेस है कि कल मार्केट खुलते ही gap up open होगा।
ध्यान रखिए:
- जितना मजबूत buying या selling जोन होगा उतना ही ज्यादा मार्केट गैप अप या गैप डाउन ओपन होगा.
- इसके लिए आपको चार्ट पर यह देखना होगा कि कहां से मार्केट बार-बार बाउंस बैक हुआ है चाहे वह ऊपर की तरफ हो या नीचे की तरफ. आपको बता दें कि यह स्ट्रेटेजी 80-90% काम करती है।
लेकिन अब आप सोच रहे होंगे कि जिस दिन मार्केट buying या selling जोन पर आकर बंद नहीं होता है मतलब बाइंग या सेलिंग जोन से कहीं दूर जाकर मार्केट बंद हो जाता है तो अगले दिन मार्केट के gap up या gap down opening की बजाए flat खुलने की संभावना ज्यादा होती है।
तो इस तरह से आप बाइंग और सेलिंग जोन देखकर मार्केट bullish यानी gap up होगा या bearish यानी gap down होगा, इसका अनुमान लगा सकते हैं।
2. AMO orders देख कर पता लगाएं शेयर मार्केट ऊपर खुलेगा या नीचे
AMO orders वह ट्रेड होते हैं जो बड़े-बड़े इंस्टीट्यूशंस (FII और DII’s) के द्वारा किए जाते हैं जोकि 9:15 पर मार्केट खुलने से पहले ही 9:00 बजे के बाद से ही लगना शुरू हो जाते हैं। इन ऑर्डर को कैलकुलेट करके आप मार्केट के gap up या gap down का पता लगा सकते हैं।
- मान लीजिए अगर किसी घरेलू निवेशक (DII) या विदेशी निवेशक (FII) ने आज निफ्टी,बैंकनिफ्टी या किसी भी शेयर में बड़ी मात्रा में buying की तो वह इंडेक्स या शेयर 9:15 पर बाजार खुलते ही gap up खुलेगा.
- इसके विपरीत अगर बड़ी मात्रा में selling हुई है तो मार्केट gap down खुलेगा।
AMO का मतलब है After market orders जो FII या DII जैसे बड़े इन्वेस्टर ही नहीं बल्कि आप और हम जैसे छोटे रिटेल निवेशक भी लगा सकते हैं। येे ऐसे आर्डर होते हैं जो आप मार्केट बंद होने के बाद भी लगा सकते हैं इसीलिए इनको After market orders कहा जाता है।
अगर किसी दिन ग्लोबल बाजार में कोई पॉजिटिव न्यूज़ की वजह से AMO आर्डर buying side में बहुत ज्यादा लगाए गए हैं तो 90% संभावना है कि कल मार्केट gap up खुलेगा और अगर नेगेटिव न्यूज़ की वजह से selling side में अधिक orders हुए हैं तो कल मार्केट gap down ओपन होगा।
एक बात आपको बता दूं कि पूरे शेयर मार्केट में AMO orders कितने लगाए गए हैं इसकी कैलकुलेशन करना थोड़ा मुश्किल है इसलिए इसके साथ-साथ आपको अन्य factors को भी साथ में देखना चाहिए। अब बढ़ते हैं अगले पॉइंट पर–
3. SGX Nifty देखकर मार्केट गैप अप या गैप डाउन पता करें
जैसा कि मैने ऊपर बताया कि SGX Nifty का परफॉर्मेंस 80-90% इंडियन शेयर मार्केट की तरह ही रहता है क्योंकि निफ्टी भी 18000 के आसपास चल रहा है और sgx nifty भी. इसलिए आप इसको देख कर मार्केट गैप अप या गैप डाउन पता कर सकते हैं।
- ट्रेडर्स के लिए SGX Nifty इसलिए इंपॉर्टेंट होता है क्योंकि आपको पता है कि इंडियन शेयर मार्केट 9:30 से 3:30 बजे तक खुलता है
- जबकि sgx nifty 6:30 बजे ही खुल जाती है और रात को 11:30 बजे बंद होती है. मतलब सिंगापुर स्टॉक एक्सचेंज लगभग 16 घंटे खुला रहता है।
तो SGX NIFTY का time इंडियन मार्केट से आगे हैं यही कारण है कि ट्रेडर्स 1 या 2 घण्टे पहले सिर्फ सिंगापुर निफ़्टी देख कर ही पता लगा लेते हैं कि आज इंडियन मार्केट में gap up opening होगी या gap down.
अब सवाल आता है कि SGX निफ्टी कैसे देखें?
तो इसके लिए आप गूगल पर ‘SGX nifty’ लिखकर सर्च कर सकते हैं और पहली वेबसाइट (official site of sgx nifty) पर जा सकते हैं
इस पर आपको SGX Nifty अभी किस प्राइस पर चल रहा है, उसका open, high, low और closing price और सपोर्ट एंड रेजिस्टेंस लेवल आदि के बारे में पता लग जाएगा।
इसके अलावा आप Moneycontrol या Tradingview की वेबसाइट पर जाकर भी SGX NIFTY का लाइव चार्ट देख सकते हैं।
4. Dow Jones फ्यूचर देखें
अब तक आप SGX NIFTY देखना सीख चुके हैं जिसके द्वारा gap up और gap down ओपनिंग का पता लगा सकते हैं। लेकिन यह पता चलने के बाद अधिकतर लोग सीधा ही call या put साइड ट्रेड करने लगते हैं जो उनकी सबसे बड़ी गलती होती है।
क्योंकि मान लो sgx nifty जिसका आपको पता चल गया कि आज मार्केट gapup ओपन होगा इसलिए आपने call option खरीद लिया लेकिन मार्केट gap up खुलने के कुछ समय बाद ही गिरना शुरू हो गया. तो ऐसे में यह पता लगाना बहुत जरूरी है कि आखिर वह gap up या gap down opening टिकेगी भी या नहीं.
और यह पता करने के लिए आपको dow jones को देखना होगा.
- जी हां, dow jones अमेरिकन स्टॉक मार्केट का इंडेक्स है जो अमेरिका के शेयर मार्केट की परफॉर्मेंस को दर्शाता है।
हम सब जानते हैं कि अमेरिका की इकॉनमी दुनिया में सबसे मजबूत है और इसीलिए अमेरिकन स्टॉक मार्केट गिरता या बढ़ता है तो उसका असर पूरी दुनिया के शेयर मार्केट पर पड़ता है।
इसलिए अगर Dow jones बहुत ज्यादा ऊपर (gapup) या नीचे (gap down) खुलता है तो बहुत चांसेस हैं कि दुनियाभर के शेयर मार्केट भी वैसे ही खुलेंगे जिसमें से भारतीय शेयर बाजार भी एक है।
- इसके द्वारा gap up या gap down का पता लगाने के लिए आपको dow jones का future देखना होगा जो ‘DJ30‘ symbol के रूप में ट्रेड करता है.
- यह छुट्टी के दिन छोड़कर हमेशा चलता रहता है. इसी को देखकर आप पहले ही पता लगा सकते हैं कि dow jones आज ऊपर खुलेगा या नीचे.
dow jones का future देखने के लिए आप tradingview वेबसाइट पर जाकर ‘Dowjones30‘ लिखकर सर्च कर सकते हैं आपको इसका चार्ट दिख जाएगा.
और इसी चार्ट को देखकर आप इंडियन मार्केट के gap up या gap down का अनुमान लगा सकते हैं।
कैसे पता करें कि कौन सा शेयर gap up होगा या gap down?
Stocks, Nifty or banknifty gap up and gap down strategy in hindi:
कौन सा शेयर गैप अप खुलेगा या गैप डाउन, इसकी यह स्ट्रेटजी केवल उन्हें स्टॉक्स के लिए काम करती है जो F&O में हैं मतलब जो स्टॉक फ्यूचर एंड ऑप्शंस में ट्रेड जाते हैं इस स्ट्रेटजी के द्वारा आप उन्हीं stocks के लिए gap up या gap down opening को predict कर सकते हैं।
देखिए F&O स्टॉक्स के 2 प्राइस होते हैं 1. Spot price और 2. Future price
- Spot price को cash price भी कहते हैं जो उस शेयर का वह प्राइस होता है जो हम सबको पता होता है लेकिन उसी शेयर का Future price वह प्राइस होता है जो फ्यूचर एंड ऑप्शन सेगमेंट में ट्रेड होता है।
आपको बता दें कि शेयरों का future price अधिकतर spot price से ऊपर ही ट्रेड करता है लेकिन जब किसी शेयर का future price उसके spot price से नीचे ट्रेड करने लगे. और नीचे ट्रेड करते हुए ही मार्केट बंद हो जाए तो 90% संभावना है कि कल मार्केट में वह शेयर gap up ओपन होगा।
लेकिन ध्यान रखिए: यह स्ट्रेटजी केवल तभी अच्छी तरह काम करेगी जब शेयर का future price उसके spot price से कम से कम 1% या 1% से कायदा नीचे ट्रेड करते हुए मार्केट बंद हो जाए केवल तभी अगले दिन यानी कल मार्केट में वह स्टॉक gap up खुलेगा।
एक बात और ध्यान रखिए कि मार्केट बंद होने के बाद या कल मार्केट खुलने से पहले उस शेयर में कोई बड़ी न्यूज या corporate action नहीं होना चाहिए जैसे; डिविडेंड, बोनस आदि. वरना यह स्ट्रेटजी काम नहीं करेगी।
कुछ f&o स्टॉक्स के उदाहरण हैं; Coal India, GAIL, Indiamart, Muthoot finance
अब आप सोच रहे होंगे कि हमें कैसे पता चलेगा कि कौन से शेयर का future price उसके spot price से कल के बाद ट्रेड कर रहा है क्योंकि तभी हम उसको ट्रैक कर पाएंगे और कल gap up opening का prediction कर पाएंगे।
- तो यह पता करने के लिए कि कौन से स्टॉक का future price और spot price के बीच कितना अंतर है, आपको moneycontrol के इस पेज पर जाना है.
- इस पेज पर पहुंचने के बाद आपको F&O stocks की list दिखेगी जिसके हर स्टॉक के सामने उसका future price, spot price, इन दोनों के बीच अंतर % में और lot size दिखाई देगा।
- इस लिस्ट में आपको सबसे ऊपर वह शेयर होंगे जिनका future price उसके spot price से ऊपर ट्रेड कर रहा है लेकिन जैसे-जैसे आप पेज को नीचे स्क्रॉल करेंगे तो लिस्ट में नीचे जाने पर आपको वह स्टॉक्स दिखने लगेंगे जिनका future price उसके spot price से नीचे ट्रेड कर रहा है
- और आपको ऐसे ही स्टॉक्स को ढूंढना है और उन पर नजर रखना है कि आज मार्केट बंद होते होते इनका future price नीचे ही ट्रेड करना चाहिए केवल तभी कल वह स्टॉक gap up opening करेगा।
अब आप सोच रहे होंगे कि हमने यहां पर केवल gap up की बात करी मतलब इस स्ट्रेटजी से हम gap up तो predict कर लेंगे लेकिन gap down कैसे predict करेंगे?
तो इसका जवाब है कि जिस तरह शेयर gap up opening होने के लिए future price नीचे ट्रेड करते हुए मार्केट बंद होना चाहिए उसी तरह gap down opening होने के लिए future price 1% से बहुत अधिक ऊपर ट्रेड करते हुए मार्केट बंद होना चाहिए केवल तभी कल वह शेयर gap down opening करेगा।
इस strategy से gap up and gap down predict करने के लिए आपको इन सभी को बातों ध्यान में रखना चाहिए–
- यह स्ट्रेटजी केवल फ्यूचर एंड ऑप्शंस (F&O) stocks के लिए ही काम करेगी.
- Gap up के लिए future price उसके spot price से नीचे ट्रेड करना चाहिए और Gap down के लिए future price उसके spot price से normal से काफी ऊपर ट्रेड करना चाहिए।
- Future price और spot price के बीच 1% से अधिक अंतर होना चाहिए।
- शेयर में कोई पॉजिटिव या नेगेटिव न्यूज़ नहीं होनी चाहिए और ना ही कोई डिविडेंड, बोनस या share split जैसा कोई corporate action का अनाउंसमेंट होना चाहिए।
- अगर इस स्ट्रेटजी के द्वारा आज कोई शेयर gap up या gap down खुला है तो कल भी उसी शेयर के लिए यह स्ट्रेटजी काम करेगी इसकी संभावना बहुत कम हो जाती है मतलब इस strategy के हर दिन रिपीट होने के चांसेस बहुत कम हो जाते हैं।
आपको बता दें कि स्ट्रेटजी केवल शेयरों के लिए ही नहीं बल्कि Nifty और banknifty के लिए भी same इसी तरह काम करती है. मतलब इसी स्टेटजी के द्वारा आप निफ्टी या बैंक निफ्टी की gap up या gap down opening का पता लगा सकते हैं।
Market Gapup and Gap down strategies in Hindi
यहां पर कुछ strategies या तरीके बताए गए हैं जिनके द्वारा आप मार्केट में Gapup और Gap down होने का पता लगा सकते हैं और अगर आप gapup या gap down मार्केट में ट्रेडिंग करना चाहते हैं तो भी नीचे दिया गया पार्ट्स आपके बहुत काम आएंगे. सबसे पहला पॉइंट है–
- मार्केट में आने वाले बड़े न्यूज़ और इवेंट पर नजर रखें जैसे- earnings reports, economic data releases या कोई geopolitical developments जिसके द्वारा शेयर मार्केट में कोई बड़ा gap up या gap down opening हो सकता है।
- टेक्निकल एनालिसिस के द्वारा प्राइस चार्ट और सपोर्ट एंड रेजिस्टेंस लेवल पर नजर रखें क्योंकि बहुत बार किसी राउंड लेवल (17000, 18000, 19000 आदि) पर आकर ही मार्केट अचानक से बढ़ना या गिरना शुरू होता है।
- इसके अलावा ब्रेकआउट और ब्रेकडाउन चार्ट पेटर्न्स पर नजर रखिये क्योंकि अगर निफ़्टी या बैंकनिफ्टी के चार्ट पर कोई ऐसा पैटर्न बनते हुए मार्केट क्लोज हो जाता है तो अगले दिन बाजार gap up या down खुलने की संभावना बहुत ज्यादा हो जाती है।
- Pre-market या early market hours के समय ट्रेडिंग वॉल्यूम पर नजर रखें क्योंकि बाजार में volume में जितना ज्यादा होगा उतना ही अधिक gap के साथ मार्केट खुलेगा, अब वह ऊपर खुलेगा या नीचे यह अन्य कई फैक्टर्स पर डिपेंड करता है।
- अगर आप शेयर मार्केट में ट्रेडिंग करते हैं और अगले दिन के लिए अपनी पोजीशन होल्ड करते हैं तो अगर अगले दिन आपका ट्रेड आपकी पोजीशन की दिशा के विपरीत gapup या gapdown खुलता है तो आपको बहुत बड़ा लॉस हो सकता है इसलिए इससे बचने के लिए स्टॉप लॉस का उपयोग करना चाहिए।
- गैप अप या गैप डाउन मार्केट में ट्रेड करते समय किसी भी ट्रेड में एंटर करने से पहले कंफर्मेशन का wait करिए यानी यानी मार्केट को स्थिर होने के बाद ही ट्रेड करें क्योंकि बहुत बार gap के विपरीत reversal हो जाता है जिससे नए ट्रेडर्स को भारी नुकसान झेलना पड़ता है।
- इस प्रकार के मार्केट में ट्रेड करते समय अपने Entry और Exit पहले ही प्लान कर लेना चाहिए. सबसे अच्छा होगा अपने चुनिंदा price levels पर limit order लगा दीजिए ताकि आप सही समय पर ट्रेड में एंट्री और एग्जिट कर सकें।
- ट्रेडिंग डिसीजन लेते समय आपको यह देखना चाहिए कि मार्केट में जो गैप अप या गैप डाउन हुआ है उसका मोमेंटम क्या है मतलब इतनी तेजी से प्राइस ऊपर या नीचे गया है और उसी के अनुसार अपनी ट्रेडिंग स्ट्रेटजी बनानी चाहिए।
- गैप अप या गैप डाउन मार्केट में ट्रेड करते समय आपको रिस्क मैनेजमेंट तकनीकों का इस्तेमाल करना चाहिए जैसे पोजीशन साइजिंग, डायवर्सिफिकेशन और realistic profits सेट करना आदि. इसके अलावा हमेशा अपने रिश्ते कैपेसिटी के अनुसार ही ट्रेड करना चाहिए।
FAQ’s (Market gap up and gap down kaise pata kare)
शेयर मार्केट में Gap up और gap down क्या होता है?
अगर कल की क्लोजिंग के बाद आज निफ्टी 50, 100, 200 या कितने भी पॉइंट ऊपर की ओर यानी upside खुला है तो उसे gap up opening कहते हैं और अगर आज मार्केट previous day की closing के मुकाबले कुछ पॉइंट नीचे की ओर खुलता है तो इसे gap down opening कहते हैं।
मार्केट गैप अप और गैप डाउन क्यों होता है?
मार्केट गैप अप और गैप डाउन होने के कई कारण होते हैं जैसे; बहुत सारे AMO orders एक साथ लगना, मार्केट में किसी बडे सपोर्ट या रेजिस्टेंस लेवल के कारण, ग्लोबल बाजारों में कोई बड़ी पॉजिटिव या नेगेटिव न्यूज़ आने के कारण शेयर मार्केट gap up या gap down ओपन होता है।
गैप अप और गैप डाउन में ट्रेड करने की बेस्ट स्ट्रेटजी क्या है?
गैप अप और गैप डाउन मार्केट में डिलीट करने की सबसे बेस्ट स्टूडेंट की यह है कि बाजार खुलने के बाद कुछ देर कंसोलिडेशन का इंतजार कीजिए मार्केट में कंसोलिडेशन रेंज बनने दीजिए. जब मार्केट उस रेंज का ब्रेकआउट करता है तो आपको उसी और ट्रेड आर्डर प्लेस कर देना चाहिए। लेकिन नुकसान से बचने के लिए हमेशा स्टॉपलॉस का उपयोग करिए और अपनी रिस्क क्षमता के अनुसार ही ट्रेड करें।
मार्केट गैप अप और गैप डाउन पता करने के लिए कौन सा इंडिकेटर उपयोग करना चाहिए?
मार्केट में gap up और gap down का पता लगाने के लिए आप बोलिंगर बैंड, Fibonacci Retracement और वॉल्यूम इंडिकेटर का इस्तेमाल कर सकते हैं।
निष्कर्ष (kal market gap up hoga ya gap down)
इस पोस्ट में मैंने आपको बताया है कि ‘शेयर मार्केट gap up या gap down कैसे पता करें (How to predict gap up or gap down in hindi), आशा करता हूं यह जानकारी आपको उपयोगी लगी होगी।
आप मुझे कमेंट करके बताइए कि शेयर बाजार गैप अप खुलेगा या गैप डाउन, इसका पता करने के लिए आप कौन से तरीके का इस्तेमाल करते हैं? और ऊपर बताए गए तरीकों में से आपको कौन सा तरीका सबसे ज्यादा पसंद आया।
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