Wipro share news: आखिर आ ही गया विप्रो का समय, 2 साल बाद क्यों आई शेयर में भयंकर तेजी!

Wipro share price go up after q3 results 2024

आखिर 2 साल बाद अब क्यों बढ़ रहा है विप्रो कंपनी का शेयर, क्या है तेजी के पीछे की असली वजह (Wipro share latest news in hindi): भारत की तीसरी सबसे बड़ी आईटी (IT) कंपनी विप्रो के शेयर में बीते कुछ महीनों में जबरदस्त तेजी देखने को मिली है। कंपनी के Q3 2024 के रिजल्ट्स के बाद से ही शेयर में लगातार खरीदारी जारी है। 12 जनवरी 2024 को विप्रो का शेयर NSE पर 3.97% की तेजी के साथ 466 रुपये पर बंद हुआ।

Wipro Q3 Results 2024 के बाद भागा शेयर?

विप्रो ने दिसंबर में समाप्त तिमाही के लिए q3 results की घोषणा की, जिसमें net profit में लगभग 12% साल-दर-साल गिरावट के साथ ₹2,694 करोड़ कमाया। इसके अलावा, revenue में 4.4% की कमी देखी गई, जो कि ₹22,205 करोड़ थी। साथ ही consolidated revenue में 4.4% की कमी देखी गई, जो ₹22,205 करोड़ तक पहुंच गया।

अब आप सोच रहे होंगे कि रेवेन्यू और नेट प्रॉफिट में गिरावट के बाद भी शेयर में तेजी क्यों आई तो आपको बता दूं कि कंपनी ने जिस प्रकार के रिजल्ट पेश किए हैं वह निवेशकों की उम्मीद से काफी अच्छे आए हैं क्योंकि IT सेक्टर बहुत समय से ग्लोबल इकोनामी स्लो डाउन के चलते अच्छा परफॉर्म नहीं कर रहा था और इसी वजह से आईटी कंपनियां भी ज्यादा रेवेन्यू और प्रॉफिट जनरेट नहीं कर पा रही थी और इसी वजह से निवेशकों की कंपनी से एक्सपेक्टेशन बहुत कम थी लेकिन फिर भी विप्रो ने निवेशकों की उम्मीद से अच्छे रिजल्ट पेश किये जिसकी वजह से शेयर में तेजी आई।

क्यों आई Wipro ADR में 18% की तेजी?

विप्रो के शेयरों में तेजी का असर इसके ADR पर भी देखने को मिला। विप्रो का ADR न्यूयॉर्क स्टॉक एक्सचेंज (NYSE) पर कारोबार करता है। विप्रो के ADR में 12 जनवरी 2024 को 18% की तेजी आई और यह 10.25 डॉलर प्रति ADR पर बंद हुआ।

विप्रो कंपनी ने किया डिविडेंड का अनाउंसमेंट

विप्रो ने अपने Q3 2024 के रिजल्ट्स के साथ ही डिविडेंड का अनाउंसमेंट भी किया। कंपनी ने इस तिमाही में 1 रुपये प्रति शेयर का डिविडेंड घोषित किया है। इस डिविडेंड की 18 जनवरी 2024 को रिकॉर्ड डेट है।

अब तक विप्रो का शेयर क्यों था down?

पिछले कुछ समय से विप्रो कंपनी निम्नलिखित पांच बड़े चैलेंज फेस कर रही थी जिसकी वजह से शेयर अच्छा परफॉर्म नहीं कर रहा था:

  1. कस्टमर लोयल्टी: विप्रो के कुछ प्रमुख ग्राहकों ने कंपनी से अपने बिजनेस को स्थानांतरित कर दिया, जिससे कंपनी को राजस्व (Revenue) में कमी आई। उदाहरण के लिए, विप्रो ने 2023 में अपने सबसे बड़े क्लाइंट, वीवो से अपना बिजनेस खो दिया। वीवो पर भारत सरकार द्वारा मनी लॉन्ड्रिंग के आरोप लगाए गए थे।

  2. प्रतिस्पर्धा: विप्रो को भारतीय और वैश्विक दोनों स्तरों पर बढ़ती प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ रहा है। उदाहरण के लिए, भारतीय IT कंपनियों जैसे Infosys, TCS और HCL ने हाल के वर्षों में अपने प्रदर्शन में सुधार किया है। वैश्विक स्तर पर, विप्रो को Accenture, IBM और Deloitte जैसी कंपनियों से प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ रहा है।

  3. तकनीकी परिवर्तन: IT क्षेत्र में तेजी से तकनीकी परिवर्तन हो रहे हैं, जिसे विप्रो को अपनाने की जरूरत है। उदाहरण के लिए, क्लाउड कंप्यूटिंग, डेटा साइंस और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस जैसे क्षेत्रों में तेजी से विकास हो रहा है। विप्रो को इन क्षेत्रों में निवेश करने और अपने ग्राहकों को इन नई तकनीकों का लाभ प्रदान करने की जरूरत है।

  4. कर्मचारी रखरखाव: विप्रो को अपने कर्मचारियों को बनाए रखने में कठिनाई हो रही है। बढ़ती प्रतिस्पर्धा के कारण, कर्मचारियों को बेहतर वेतन और लाभों की पेशकश करने वाली अन्य कंपनियों से प्रलोभन मिल रहा है।

  5. नई क्षमताओं का निर्माण: विप्रो को नई क्षमताओं का निर्माण करने की जरूरत है ताकि वह बढ़ती मांगों को पूरा कर सके। उदाहरण के लिए, कंपनी को अपने क्लाउड कंप्यूटिंग, डेटा साइंस और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस क्षमताओं का विस्तार करने की जरूरत है।

इन चैलेंजों के कारण, विप्रो के शेयर की कीमतें पिछले कुछ वर्षों में गिर गई हैं। हालांकि, कंपनी इन चैलेंजों का सामना करने के लिए कदम उठा रही है। उदाहरण के लिए, कंपनी ने अपनी बिजनेस रणनीति में बदलाव किए हैं, नए उत्पादों और सेवाओं में निवेश किया है, और अपने कर्मचारियों को बनाए रखने के लिए कई कार्यक्रम शुरू किए हैं।

विप्रो के हालिया तिमाही परिणामों से पता चलता है कि कंपनी इन चैलेंजों से निपटने में कुछ सफलता प्राप्त कर रही है। कंपनी ने इस तीसरी तिमाही में मजबूत राजस्व और मुनाफा दर्ज किया। यह उम्मीद है कि कंपनी आने वाले वर्षों में इन चैलेंजों को और अधिक प्रभावी ढंग से संबोधित करेगी।

Wipro ने अब तक निवेशकों को कब और कितनी बार बोनस दिया है?

Wipro ने अपने इतिहास में 13 बोनस दिए हैं। पहला बोनस 1971 में दिया गया था और आखिरी बोनस 2019 में दिया गया था। बोनस की राशि और अनुपात कंपनी के प्रदर्शन पर निर्भर करता है।

Wipro के बोनस इतिहास का विवरण इस प्रकार है:

Bonus YearStock Split Ratio
19711:3
19811:1
19851:1
19921:1
19951:1
19972:1
20042:1
20051:1
20102:3
20171:1
20191:3

Wipro के बोनस घोषणा के बाद, कंपनी के शेयर की कीमतों में आमतौर पर वृद्धि देखी जाती है। यह निवेशकों के बीच कंपनी के प्रदर्शन और भविष्य के प्रदर्शन के प्रति विश्वास को दर्शाता है।

Wipro share fundamentals

ParameterValue
Market Cap₹ 2,43,167 Cr.
Current Price₹ 465
High / Low₹ 484 / 352
Stock P/E21.6
Book Value₹ 133
Dividend Yield0.21 %
ROCE17.7 %
ROE15.9 %
Face Value₹ 2.00
Debt to equity0.26
Profit after tax₹ 11,285 Cr.
Promoter holding72.9 %

Wipro शेयर ने अब तक कितने रिटर्न दिए हैं?

Time PeriodWipro Share Returns (%)
1 महीने11.04%
3 महीने14.5%
6 महीने18%
1 साल18.3%
5 साल80%

Wipro share price target क्या हैं 2024, 2025, 2026, 2027, 2028, 2029 और 2030 के लिए

विप्रो के शेयर के लिए कई ब्रोकरेज हाउस ने अपने अनुमान जारी किए हैं। इन अनुमानों के अनुसार, विप्रो के भविष्य के लिए शेयर प्राइस टारगेट नीचे दिए गए हैं–

YearWipro Share Price Target
2023₹449.40
2024₹466.13
2025₹536.15
2026₹580.23
2027₹623.90
2028₹673.70
2029₹699.10
2030₹776.14

निष्कर्ष–

कुल मिलाकर, विप्रो के शेयर में आने वाली तेजी से निवेशकों को काफी उम्मीदें हैं। कंपनी के मजबूत रिजल्ट्स और डिविडेंड घोषणा से शेयर की कीमतों में और बढ़ोतरी की संभावना है।

Disclaimer: यह आर्टिकल हमने केवल जानकारी देने के उद्देश्य से लिखा है. हमारा मकसद आपको किसी भी प्रकार की निवेश की सलाह देना नहीं है इसलिए किसी भी शेयर में निवेश करने से पहले अपने फाइनेंशियल एडवाइजर से सलाह जरूर लें.

ये भी पढ़ें

Rate this post